Women’s T20 World Cup: : भारतीय महिला टीम की ऑस्ट्रेलिया पर 17 रनों से जीत

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सिडनी: भारतीय महिला क्रिकेट टीम ने शुक्रवार को यहां ऑस्ट्रेलिया के खिलाफ टी20 विश्व कप के शुरुआती मुकाबले में शानदार शुरुआत कर ऑस्ट्रेलिया को 17 रनों से हराया।

ऑस्ट्रेलिया ने टॉस जीतकर गेंदबाजी करने का फैसला किया। भारत ने पहले बल्लेबाजी करते हुए 20 ओवर में 4 विकेट गवांकर 132 रन बनाए और ऑस्ट्रेलिया को 133 रनों के लक्ष्य दिया। लक्ष्य का पीछा कर रही ऑस्ट्रलिया टीम की पारी को भारत ने 19.5 ओवर में 115 रनों के स्कोर पर समाप्त किया और इस रोमांचक मुकाबले में 17 रनों से जीत हासिल कर टी20 विश्व कप में अपना खाता खोला।

16 वर्षीय शेफाली वर्मा ने भारत को 4 ओवर तक बिना विकेट गंवाए 41 रन तक पहुंचा दिया था। उन्होंने 15 गेंद में 29 रन की पारी खेली जिसमें 5 चौके और 1 छक्का जड़ा था। लेकिन उनके आउट होने के बाद पारी की लय बिगड़ गई और अन्य बल्लेबाजों ने निराश किया।

दीप्ति शर्मा ने 46 गेंद में नाबाद 49 रन की संयमित पारी खेली लेकिन अंत में भारत को जिस आक्रामकता की जरूरत थी, उसकी कमी दिखाई दी। बल्लेबाजी का न्यौता दिए जाने के बाद टीम शेफाली की पारी की बदौलत 4 ओवर तक अच्छी स्थिति में थी। हालांकि बायें हाथ की स्पिनर जेस जोनासेन (24 रन देकर 2 विकेट) ने तेजी से 2 विकेट झटक लिए जिसमें स्मृति मंधाना (11 गेंद में 10 रन) और हरमनप्रीत कौर (5 गेंद में 2 रन) का विकेट शामिल रहा। इससे भारत का स्कोर 3 विकेट पर 47 रन हो गया।

दीप्ति ने फिर जेमिमा रोड्रिग्स (33 गेंद में 26 रन) के साथ 53 रन की साझेदारी निभाकर 16वें ओवर तक भारत को 100 रन तक पहुंचाया। ऑस्ट्रेलिया के लिए एलिसे पेरी (15 रन देकर 1 विकेट) और डेलिसा किमिन्स (24 रन देकर 1 विकेट) ने विकेट चटकाए।

इससे पहले भारत के लिए सलामी बल्लेबाज मंधाना ने दूसरे ओवर में पेरी पर 2 चौके जमाकर अच्छी शुरुआत कराई। तीसरे ओवर में शेफाली ने भी उनकी देखादेखी मोली स्ट्रानो पर कवर पर चौका और फिर लांग आन पर छक्का जड़ा।

शेफाली ने फिर तेज गेंदबाज मेगान स्कट पर 4 चौके जमाए जिससे इस ओवर में 16 रन जुटे। फिर जोनासेन गेंदबाजी के लिए उतरीं, जिन्होंने मंधाना का विकेट लेकर पहला झटका दिया। पेरी ने फिर शेफाली को अनाबेल सदरलैंड के हाथों कैच कराकर आउट किया जिससे भारत का स्कोर 5.3 ओवर में 2 विकेट पर 43 रन हो गया।

कप्तान हरमनप्रीत भी जोनासेन की शिकार बनीं। जेमिमा एक बार डीआरएस में पगबाधा के फैसले से बचीं और उन्होंने दीप्ति के साथ टीम का स्कोर 100 रन तक पहुंचाया।