केंद्रीय इस्पात मंत्री की निगाह में सपा में सब गधे और मुर्ख भरे पड़े है

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pलखनऊ / फैजाबाद। लखनऊ में मोबाइल, कैश और ट्राली बैग बाटने का मामला अभी शांत भी नहीं हुआ था कि केंद्रीय इस्पात मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा ने एक बार विवादास्पद  बयान दिया है। बड़ बोले बेनी बाबू ने सपा पर हमला करते हुए कहा कि सपा में मूर्खो का राज है और सब गधे है।

लखनऊ में ट्राली बैग, कैश और मोबाइल बाटने के बाद सियासी गलियारे में मचे तूफ़ान पर बेनी बाबू ने फैजाबाद में इसके पीछे का गेम प्लान बताया।

केंद्रीय इस्पात मंत्री बेनी प्रसाद वर्मा ने फैज़ाबाद में कहा कि हम व्यापारी हैं और अगर आपको एक पैसे देंगे तो आपकी जेब से चार पैसे निकाल लेंगे। और इसी गिफ्ट के चलते आप प्रचार करोगे कि बड़ा अच्छा लोहा है।

इस दौरान उन्होंने समाजवादी  पार्टी पर हमला करते हुए कहा कि ये गधे है और पता नहीं लोहिया जी इनको क्या पढ़ा गए। इनको देखकर लगता है कि उत्तरप्रदेश में मूर्खों का राज है। उनका कहना था कि हमारे पास फंड है और हम दस हज़ार करोङ रुपया कमाए हैं तो करोङ दो करोङ हमारे लिए खर्च करना कौन सी बड़ी बात है।

व्यापारी बने बेनी प्रसाद वर्मा कहा कि ये इकोनामी मिनिस्ट्री है इसमें जो प्राफिट होता है। उसका एक या दो प्रतिशत सामाजिक दायित्व पर खर्च करना होता है। उसको हम दूसरे मद में खर्च नहीं कर सकते, उसे पब्लिसिटी पर ही खर्च करना पड़ता है। हमने एक लैपटॉप दे दिया तो वो भी एक पब्लिसिटी है। हम व्यापारी है किसी को एक रूपया देंगे तो उसकी जेब से चार  रूपया निकल लेंगे। आप प्रचार करोगे ये सामान अच्छा है ये लोहा अच्छा है, ये हमारा बिजिनेस टैक्ट है और ये सपा वाले गधे है. इन्हे पता नहीं लोहिया ने क्या सिखाया है। अभी मीडिया चौथा खम्भा माना जाता है। अगर मैंने अच्छा खाना खिला दिया और कुछ गिफ्ट दे दिया तो उनके पेट में क्यों दर्द हो रहा है ये हमारे पास फण्ड है ब्लैक मनी से नहीं कर रहे है

दिल्ली में आप और भाजपा के बीच मचे घमासान पर बेनी बाबू ने कहा कि हमने सरकार बनाई है हम काहे  गिराएंगे। जेटली और आप आमने समने अंताक्षरी कर रहे है हम कहा है उसमे। हा हम चाहते है अच्छे रास्ते पर चले हमने समर्थन दिया है दिल्ली की भलाई के लिए। गलत काम करेगे तो आलोचना करेगे। मगर शायद ही समर्थन वापस लेने की बात सोचे। इससे बढ़िया क्या हो सकता हमारे लिए भाजपा छतीसगढ़ हार सकती थी राजस्थान हार सकती थी। दिल्ली तो बल्ले बल्ले थी कि यहाँ तो पचास जीतेगे। ये बत्तीस लिए नारा लगा रहे है और हम आठ लिए सरकार चला रहे है।

बेनी बाबू जब इतने अच्छे मूड में हो कि अपने बयानो से अपनी ही पार्टी के लिए मुश्किलें खड़ी कर रहे हो तो भला वह मुलायम को कैसे भूल जाते सो कह दिया कि उनके अंदर प्रधानमंत्री बनने की भट्ठी जल रही है। वह समाजवाद नहीं परिवारवाद की राजनीत कर रहे है उन्हें मतलब है तो सिर्फ अखिलेश और डिंपल से।