PM मोदी के नेपाल यात्रा की खास बाते

Like this content? Keep in touch through Facebook

PM नरेंद्र मोदी नेपाल के साथ भारत के रिश्तों में सुधर करने और रिश्तों को मजबूत करने के इरादों से सार्क सम्मेलन में हिस्सा लेने के लिए मंगलवार को नेपाल की राजधानी काठमांडू पहुंचे। मोदी ने यहां नेपाल से भारत के बीच बस सर्विस शुरू करने का एलान किया। बाद में पीएम ने काठमांडू से दिल्ली जाने वाली बस को झंडी दिखाकर विदा किया। इससे पहले, मोदी ने वक्त की कमी की वजह से पहले से प्रस्तावित जनकपुर, लुंबिनी और मुक्तिनाथ का दौरा रद्द किए जाने के लिए नेपाली जनता से माफी भी मांगी। मोदी ने कहा, अगर नेपाल खुश नहीं है, तो भारत भी मुस्कुरा नहीं सकता।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने पड़ोसी नेपाल का संविधान जल्द तैयार करने की जोरदार वकालत करते हुए कहा कि अगर देश ऐसा करने में नाकाम रहा तो मुश्किलों में पड़ सकता है। मोदी ने आज कहा कि नेपाल का संविधान बनने में देर हो रही है और यहां जल्द संविधान बनना जरूरी है। उन्होंने कहा कि सबकी सहमति से संविधान बनाना बेहतर होगा और इसमें सबका प्रतिनिध‍ित्व होना चाहिए।

दो दिनों के दौरे पर आज नेपाल पहुंचे मोदी ने काठमांडू में कहा कि नेपाल को संविधान बनाने के काम में देर नहीं करना चाहिए। नेपाल को यह मौका नहीं चूकना चाहिए। संविधान बनाने के काम में देर नहीं करने की सलाह देते हुए मोदी ने कहा,मैं एक मित्र राष्ट्र के नाते प्रार्थना करता हूं कि आप सहमति से संविधान बनाइए, जल्दी से संविधान बनाइए। मेरा आग्रह है कि नेपाल का संविधान ऐसा बने जिसमें हर नेपाली वर्ग का प्रतिनिधित्व हो, संविधान संख्या बल से नहीं सहमति से बने।

दोनों देशों के बीच अटूट रिश्ते का जिक्र करते हुए मोदी ने कहा कि जनकपुर और अयोध्या का रिश्ता मैं जानता हूं। अगर नेपाल खुश नहीं है तो भारत के चेहरे पर भी मुस्कान नहीं दिख सकती। उन्होंने कहा कि समय की कमी से जनकपुर-लुंबिनी नहीं जा सके। मोदी ने कहा, ‘जनकपुर, लुम्बिनी और मुक्तिनाथ के लोगों से विशेष रूप से माफी मांगता हूं। समयाभाव के कारण मैं वहां नहीं जा पा रहा हूं। भविष्य में जब कभी भी समय मिलेगा मैं जनकपुर, लुम्बिनी और मुक्तिनाथ की यात्रा अवश्य करूंगा।

मोदी ने नेपाल को भेंट किया आधुनिक हेलीकॉप्टर

नेपाल के साथ संबंधों को मजबूत करने की भारत की प्रतिबद्धता को दर्शाते हुए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने आज नेपाल को एक आधुनिक हल्का हेलीकॉप्टर (एएलएच) सौंपा, जिसका इस्तेमाल सैन्य और असैन्य अभियानों के लिए किया जाएगा।

मोदी ने बुधवार से यहां शुरू हो रहे 18वें दक्षेस शिखर सम्मेलन से पहले नेपाल आर्मी पवेलियन में एक विशेष समारोह में नेपाली प्रधानमंत्री और रक्षामंत्री सुशील कोइराला को एएलएच मार्क-3 ध्रुव हेलीकॉप्टर सौंपा। मोदी ने कहा, “यह नेपाल के रक्षा कवच में शामिल होगा।’ भारत सरकार ने द्विपक्षीय परामर्श समूह बैठक के तहत हुए समझौते के अनुसार नेपाल को हेलीकॉप्टर सौंपा।

‘ध्रुव मार्क-3’ हेलीकॉप्टर का निर्माण सरकारी स्वामित्व वाली हिंदुस्तान एयरोनॉटिक्स लिमिटेड ने किया है। यह मूल ध्रुव हेलीकॉप्टर का सबसे आधुनिक संस्करण है और शक्ति इंजनों से युक्त है। हेलीकॉप्टर को दो पायलट चलाते हैं और इसमें 14 यात्रियों को ले जाने की क्षमता होती है। भारतीय सेना ने 1992 में हेलीकॉप्टर का पहला परीक्षण किया था और सेना ने 2012 से इसका इस्तेमाल शुरू किया। यह आसमान में आराम से 20,000 फुट की ऊंचाई तक उड़ान भर सकता है।

नेपाली सेना ने एक बयान में कहा, ‘भारत नेपाल सेना को सैन्य प्रशिक्षण और भौतिक उपकरण प्रदान कर रहा है। भेंट किया गया हेलीकॉप्टर निश्चित रूप से नेपाली सेना के मानवीय सहायता कार्यक्रमों और प्राकृतिक आपदा राहत कार्यक्रम को मजबूत करेगा। इस हेलीकॉप्टर की कीमत 60 से 80 करोड़ रुपये के बीच हो सकती है। फिलहाल इसका निर्यात मालदीव और इक्वाडोर समेत कम से कम तीन अन्य देशों को किया जाता है।

दोनों देशो के बीच बस सर्विस की शुरुआत

बसों का नाम ‘पशुपतिनाथ एक्सप्रेस’ रखा गया है। नेपाल और भारत के बीच ये लग्जरी बसें तीन रूट पर चलेंगी- काठमांडू से नई दिल्ली, काठमांडू से वाराणसी और पोखरा से नई दिल्ली। यह बस काठमांडू से दिल्ली के बीच 1250 किमी की दूरी करीब 30 घंटे में पूरी करेगी। किराया 2300 रुपए रखा गया है। कस्टम की चेकिंग सोनौली बॉर्डर पर होगी। भारतीय और नेपाली नागरिकों को सरकार द्वारा मान्यता प्राप्त आईडी कार्ड अपने साथ रखना होगा, वहीं विदेशी नागरिकों को पासपोर्ट दिखाना होगा। पीएम ने उम्मीद जताई कि इससे पर्यटन को बढ़ावा मिलेगा। उन्होंने कहा कि अगर मुमकिन हुआ तो बसों में वाईफाई सुविधा दी जाएगी।